अगर आपकी सोने में परेशानी हो रही है, तो मेलाटोनिन इसका कारण हो सकता है। मेलाटोनिन को बूस्ट कर आप बेहतर नींद ले सकते हैं।
सेहतमंद रहने के लिए अच्छी नींद लेना बेहद आवश्यक है। डॉक्टरों की मानें तो गहरी नींद में हमारे शरीर की कोशिकाएं रिपेयर होती हैं। यदि, आप गहरी नींद नहीं ले पाते हैं, तो इससे आपके शरीर में कई तरह की समस्याएं शुरू हो सकती है। आपकी लाइफस्टाइल, डाइट और हार्मोन भी आपकी नींद को प्रभावित कर सकते हैं। आपको बता दें कि मेलाटोनिन नींद के स्लीप पैर्टन को सही बनाए रखने में मदद करता है। मेलाटोनिन का सीधा असर आपकी नींद पर पड़ता है। शरीर में मेलाटोनिन का सही स्तर बेहतर नींद के लिए आवश्यक है। आगे एनएमसी के फिजीशियन डॉक्टर विनोद कुमार से जानते हैं कि मेलाटोनिन और नींद के बीच क्या संबंध होता है। साथ ही, इसे मेलाटोनिन को बूस्ट करने के उपाय भी आगे बताए गए हैं।
नींद के लिए महत्वपूर्ण है मेलाटोनिन - Melatonin For Good Sleep In Hindi
मेलाटोनिन को नींद का हार्मोन भी कहा जाता है। यह ब्रेन के पीनियल ग्लैंड के द्वारा निर्मित हार्मोन है। इससे शरीर का बॉडी क्लॉक प्रभावित होता है। इस बॉडी क्लॉक को सर्कैडियन रिदम कहा जाता है। शाम होते ही ब्रेन मेलाटोनिन रिलीज करने लगाता है। इसका स्तर बढ़ने से शरीर को संकेत मिलते हैं कि वह शांत हो जाए और सोने के लिए तैयार हो जाए। मेलाटोनिन का मुख्य कार्य स्लीप पैर्टन को कंट्रोल करना है। यह बॉडी क्लॉक के साथ तालमेल बनाता है। साथ ही, रात के समय गहरी नींद आने में मदद करता है। इसके अलावा, मेलाटोनिन में एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं, जो ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस को कम करने में सहायक होते हैं।
मेलाटोनिन उत्पादन को प्रभावित करने वाले कारक - Factors Affect Melatonin Production In Hindi
मेलाटोनिन को प्रभावित करने के पीछे कई कारक जिम्मेदार हो सकते हैं। जिन लोगों को बेहतर नींद लेने में परेशानी होती है, उनको इस बारे में जानना बेहद आवश्यक है। डॉक्टर्स की मानें तो इलेक्ट्रॉनिक आर्टिफिशियल रोशनी के संपर्क में रहना और इलेक्ट्रॉनिक से निकलने वाली ब्लू लाइट मेलाटोनिन को स्तर को प्रभावित कर सकती है। इसके अलावा, देर तक जागना, जेट लैग की समस्या, स्लीप पैर्टन को फॉलो न करने से मेलाटोनिन में बाधा उत्पन्न हो सकती है।
मेलाटोनिन को कैसे बढ़ाएं - How To Boost Melatonin Level In Hindi
- धूप में अवश्य बैठें: सुबह की धूप में अवश्य 15 मिनट बैठें। यह मेलाटोनिन के स्तर को कम करने और उसके उत्पादन को नियंत्रित करता है। इससे आपकी बॉडी क्लॉक ठीक होता है और रात के समय मेलाटोनिन का उत्पादन बेहतर होता है।
- अंधेरे कमरे में सोएं: यदि आपको नींद आने में परेशानी हो तो ऐसे में आप अंधेरे कमरे में सो सकते हैं। अंधेरे कमरे में मेलाटोनिन का उत्पादन बढ़ता है।
- दूध: गर्म दूध अनिद्रा जैसे समस्या को दूर करने में फायदेमंद होता है। इससे मेलाटोनिन की मात्रा बढ़ती है। रात को सोने से हल्के गर्म दूध को पीने से नींद अच्छी आती है।
- कैफीन का सेवन कम करें: रात में कैफीन का सेवन आपको नुकसान पहुंचा सकता है। रात में बेहतर नींद आप कैफीन युक्त ड्रिंक्स का सेवन न करें।
- स्क्रीन टाइम को कम करें: रात के समय घंटों मोबाइल व कंप्यूटर के आगे न बैठें। इससे निकलने वाली रोशनी आपके मेलाटोनिन को प्रभावित कर सकती हैं।
- स्ट्रेस को दूर करें: रात के समय आप खाना खाने के बाद कुछ समय के लिए बाहर टहलें। इससे आपको ऑक्सीजन मिलेगी और स्ट्रेस व तनाव का स्तर कम होगा। जिससे आपको सोने में मदद मिलेगी।
इसे भी पढ़ें: तनाव के कारण नहीं आती नींद? अपनाएं एक्सपर्ट के बताए ये 5 टिप्स
नींद से जुड़ी समस्याओं को कम करने के लिए आप लाइफस्टाइल में बदलाव कर सकते हैं। सुबह जल्दी उठने और जल्दी सोने से स्लीप पैर्टन मेंटेन होता है और आपको गहरी व अच्छी नींद आती है। यदि, नींद से जुड़ी कोई परेशानी हो, तो ऐसे में डॉक्टर से संपर्क करें।
Disclaimer
सुस्ती और आलस के कारण होते हैं ऑफिस के लिए लेट? इन 5 टिप्स से पाएं विंटर ब्लूज से राहत
नसों से जुड़ी समस्याएं क्यों होती हैं? जानें इसके 5 कारण
ओटोरिया (कान बहना) की समस्या क्यों होती है? जानें इसके कारण और इलाज
60 की उम्र के बाद कौन-सी एक्सरसाइज करनी चाहिए? जिससे रहेंगे फिट और हेल्दी
31 January 2024: पढ़ें आज का स्वास्थ्य राशिफल, जानें सेहत के लिहाज से कैसा रहेगा आज का दिन
0 Comments